सबसे पास थे

चल दिए सभी मगर
विराम जिंदगी रही
याद रह गए मगर
वो दोस्त जो महान थे

भूलता गया सभी
राह के मक़ाम को
याद रह गए मगर
वो खेत मेरे पहाड़ के

वो साथ में  चला  नहीं
जो विश्वाश के निशान थे
वो दूर ही रहे मगर
जो मन के सबसे पास थे 

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